आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत पंजाब के मरीजों के उपचार को लेकर पीजीआई और स्वास्थ्य विभाग ने साफ कर दिया है कि जब तक बकाया रुपये नहीं आएंगे इलाज संभव नहीं होगा। पीजीआई में आयुष्मान कार्ड धारकों के लिए बनी डेस्क पर एक परचा लगाया गया है। इस पर लिखा है कि एक अगस्त से पंजाब के आयुष्मान कार्ड धारकों का इलाज बंद कर दिया गया है। वहीं डेस्क पर हरियाणा व हिमाचल के कार्डधारकों की लंबी कतार लगी थी।
उधर पंजाब के वित्त मंत्री हरपाल सिंह चीमा का कहना है कि सरकार की ओर से पीजीआई को बकाया राशि दे दी गई है। वहीं पीजीआई ने राशि मिलने से इनकार किया है।
आयुष्मान भारत योजना में इलाज की बकाया राशि न मिलने पर जीएमसीएच-32, पीजीआई और स्वास्थ्य विभाग की ओर से पंजाब के मरीजों का इलाज रोक दिया गया है। इसे लेकर असमंजस की स्थिति बन गई है।
पंजाब के वित्त मंत्री पीजीआई को पूरा भुगतान की बात कह रहे हैं, वहीं पीजीआई की ओर से कहा गया है कि उनके पास अभी तक कोई बकाया राशि नहीं आई है। खाते में फंड आने के बाद ही इलाज पर निर्णय लिया जाएगा। ऐसी स्थिति में पंजाब के मरीजों के लिए संकट खड़ा हो गया है कि वह योजना का लाभ कैसे लें। डॉक्टरों का कहना है कि इलाज न मिलने की सूचना के बाद मरीजों को पंजाब के अस्पतालों से भी रेफर नहीं किया जा रहा है।
पंजाब सरकार की ओर से 100 करोड़ रुपये जारी कर दिए गए हैं। सरकार की ओर से संबंधित चिकित्सकीय संस्थानों को एक पत्र भी जारी किया जा रहा है। संभव है कल तक उन्हें इसकी जानकारी भी मिल जाएगी।पीजीआई को पंजाब से अब तक आयुष्मान योजना के बकाया राशि का भुगतान नहीं हुआ है। बकाया भुगतान के बाद ही मरीजों का इलाज हो सकेगा। पंजाब के मरीज अन्य चिकित्सकीय सुविधाओं का लाभ उठाने के लिए चिकित्सा शुल्क जमाकर इलाज प्राप्त कर सकते हैं।